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जुमे की नमाज के लिए धर्मगुरूओं से जनसंपर्क करने के बाद, ADG ने कहा इस बार कोई नहीं होगी समस्या

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उत्तर प्रदेश (Uttar Pradesh) में जुमे की नमाज (Friday Prayers) से पहले विभिन्न जिले की पुलिस सतर्कता बरत रही है. इस दौरान आम लोगों के साथ ही धर्मगुरुओं से भी पुलिस लगातार संपर्क कर रही है. यूपी के एडीजी (कानून-व्यवस्था) प्रशांत कुमार (ADG Prashant Kumar) का कहना है कि इस बार ऐसी व्यवस्था की गई है किसी की तरह की समस्या न हो पाए. बता दें कि पिछले शुक्रवार को यूपी के कई शहरों में जुमे की नमाज के बाद हिंसक प्रदर्शन हुए थे.

प्रशांत कुमार ने कहा, ”कल की नमाज की व्यवस्था के लिए धर्मगुरुओं से जनसंपर्क किया गया है. सभी का सहयोग प्राप्त हो रहा है. बरेली में भी एक प्रदर्शन प्रस्तावित था जिसकी तारीख आगे कर दी गई है. फिलहाल हमारी सभी धर्मगुरुओं और शांतिप्रिय लोगों के साथ बैठक हुई है.”

एडीजी प्रशांत ने आगे बताया कहा, ”इस बार ऐसी व्यवस्था की गई है कि कोई भी समस्या न हो. इस संबंध में सभी धर्मगुरुओं के द्वारा भी अपील की गई है. साथ ही जिन उपद्रवियों ने पहले अशांति फैलाई थी उनके खिलाफ निष्पक्षता तथा पारदर्शिता के साथ कार्रवाई हो रही है.”

बीते शुक्रवार को हुए पथराव के बाद यूपी पुलिस ने आरोपियों को चिह्नित कर उनके घर बुलडोजर से गिराए हैं. सरकार जहां यह दावा कर रही है कि केवल अवैध निर्माण को ही गिराया गया है वहीं विपक्ष ने सरकार पर अदालत की जगह खुद ही लोगों को अपराधी घोषित करने के आरोप लगाए हैं. यूपी में आरोपियों के घर बुलडोजर चलने का मामला सुप्रीम कोर्ट पहुंच गया है जहां जमीयत-उलमा-ए-हिंद ने याचिका दाखिल की है. याचिका पर सुप्रीम कोर्ट ने यूपी सरकार से तीन दिन की भीतर जवाब मांगा है.

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उत्तर प्रदेश (Uttar Pradesh) में जुमे की नमाज (Friday Prayers) से पहले विभिन्न जिले की पुलिस सतर्कता बरत रही है. इस दौरान आम लोगों के साथ ही धर्मगुरुओं से भी पुलिस लगातार संपर्क कर रही है. यूपी के एडीजी (कानून-व्यवस्था) प्रशांत कुमार (ADG Prashant Kumar) का कहना है कि इस बार ऐसी व्यवस्था की गई है किसी की तरह की समस्या न हो पाए. बता दें कि पिछले शुक्रवार को यूपी के कई शहरों में जुमे की नमाज के बाद हिंसक प्रदर्शन हुए थे.

प्रशांत कुमार ने कहा, ”कल की नमाज की व्यवस्था के लिए धर्मगुरुओं से जनसंपर्क किया गया है. सभी का सहयोग प्राप्त हो रहा है. बरेली में भी एक प्रदर्शन प्रस्तावित था जिसकी तारीख आगे कर दी गई है. फिलहाल हमारी सभी धर्मगुरुओं और शांतिप्रिय लोगों के साथ बैठक हुई है.”

एडीजी प्रशांत ने आगे बताया कहा, ”इस बार ऐसी व्यवस्था की गई है कि कोई भी समस्या न हो. इस संबंध में सभी धर्मगुरुओं के द्वारा भी अपील की गई है. साथ ही जिन उपद्रवियों ने पहले अशांति फैलाई थी उनके खिलाफ निष्पक्षता तथा पारदर्शिता के साथ कार्रवाई हो रही है.”

बीते शुक्रवार को हुए पथराव के बाद यूपी पुलिस ने आरोपियों को चिह्नित कर उनके घर बुलडोजर से गिराए हैं. सरकार जहां यह दावा कर रही है कि केवल अवैध निर्माण को ही गिराया गया है वहीं विपक्ष ने सरकार पर अदालत की जगह खुद ही लोगों को अपराधी घोषित करने के आरोप लगाए हैं. यूपी में आरोपियों के घर बुलडोजर चलने का मामला सुप्रीम कोर्ट पहुंच गया है जहां जमीयत-उलमा-ए-हिंद ने याचिका दाखिल की है. याचिका पर सुप्रीम कोर्ट ने यूपी सरकार से तीन दिन की भीतर जवाब मांगा है.

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उत्तर प्रदेश (Uttar Pradesh) में जुमे की नमाज (Friday Prayers) से पहले विभिन्न जिले की पुलिस सतर्कता बरत रही है. इस दौरान आम लोगों के साथ ही धर्मगुरुओं से भी पुलिस लगातार संपर्क कर रही है. यूपी के एडीजी (कानून-व्यवस्था) प्रशांत कुमार (ADG Prashant Kumar) का कहना है कि इस बार ऐसी व्यवस्था की गई है किसी की तरह की समस्या न हो पाए. बता दें कि पिछले शुक्रवार को यूपी के कई शहरों में जुमे की नमाज के बाद हिंसक प्रदर्शन हुए थे.

प्रशांत कुमार ने कहा, ”कल की नमाज की व्यवस्था के लिए धर्मगुरुओं से जनसंपर्क किया गया है. सभी का सहयोग प्राप्त हो रहा है. बरेली में भी एक प्रदर्शन प्रस्तावित था जिसकी तारीख आगे कर दी गई है. फिलहाल हमारी सभी धर्मगुरुओं और शांतिप्रिय लोगों के साथ बैठक हुई है.”

एडीजी प्रशांत ने आगे बताया कहा, ”इस बार ऐसी व्यवस्था की गई है कि कोई भी समस्या न हो. इस संबंध में सभी धर्मगुरुओं के द्वारा भी अपील की गई है. साथ ही जिन उपद्रवियों ने पहले अशांति फैलाई थी उनके खिलाफ निष्पक्षता तथा पारदर्शिता के साथ कार्रवाई हो रही है.”

बीते शुक्रवार को हुए पथराव के बाद यूपी पुलिस ने आरोपियों को चिह्नित कर उनके घर बुलडोजर से गिराए हैं. सरकार जहां यह दावा कर रही है कि केवल अवैध निर्माण को ही गिराया गया है वहीं विपक्ष ने सरकार पर अदालत की जगह खुद ही लोगों को अपराधी घोषित करने के आरोप लगाए हैं. यूपी में आरोपियों के घर बुलडोजर चलने का मामला सुप्रीम कोर्ट पहुंच गया है जहां जमीयत-उलमा-ए-हिंद ने याचिका दाखिल की है. याचिका पर सुप्रीम कोर्ट ने यूपी सरकार से तीन दिन की भीतर जवाब मांगा है.

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