नई दिल्ली। दिल्ली की नई आबकारी नीति (2021-22) घोटाला मामले में सीबीआई ने दिल्ली के पूर्व उप मुख्यमंत्री के खिलाफ चार्जशीट (आरोप पत्र) दायर की है। चार्जशीट में सिसोदिया को आरोपी बनाया गया है। एजेंसी ने राऊज एवेन्यू की विशेष अदालत में आरोप पत्र दाखिल किया है। सीबीआई द्वारा इस मामले में दायर की गई यह दूसरी चार्जशीट है।
दिल्ली की राऊज एवेन्यू कोर्ट ने चार्जशीट के संज्ञान के बिंदुओं पर बहस के लिए 12 मई की तारीख तय की है। चार्जशीट में मनीष सिसोदिया के अलावा अमनदीप सिंह ढल, अर्जुन पांडे, बूची बाबू का भी नाम है। चार्जशीट में आईपीसी की धारा 120बी, 201 और 420 और भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम की धारा 7, 7ए, 8 और 13 के तहत आरोपियों के नाम हैं।
हाई कोर्ट में सिसोदिया की जमानत का सीबीआई ने किया विरोध
आबकारी नीति घोटाला मामले में 20 अप्रैल को दिल्ली पूर्व उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया की जमानत याचिका का विरोध करते हुए सीबीआई ने दिल्ली हाई कोर्ट में कहा कि सिसोदिया गंभीर आर्थिक अपराध में शामिल हैं और अपराध के तौर-तरीकों को उजागर करने में महत्वपूर्ण हैं। न्यायमूर्ति दिनेश कुमार शर्मा के समक्ष दाखिल लिखित संक्षिप्त जवाब में सीबीआई ने कहा कि जांच की प्रगति को विफल करने के लिए कानून की पेचीदगियों का दुरुपयोग करने का यह प्रयास है।
सिसोदिया षडयंत्र के सरगना हैं- CBI
सीबीआई ने कहा कि सिसोदिया षड्यंत्र के सरगना हैं और उनका प्रभाव और दबदबा है। ऐसे में जमानत पाने वाले सह-आरोपितों से उनकी तुलना नहीं की जा सकती है। वहीं दूसरी तरफ सिसोदिया की तरफ से पेश हुए वरिष्ठ अधिवक्ता दयान कृष्णन ने कहा कि सीबीआई के पास आबकारी नीति मामले में सिसोदिया की संलिप्तता दिखाने के लिए कोई सुबूत नहीं हैं। उन्होंने कहा कि उनके मुवक्किल को हिरासत में रखने के लिए ऐसा किया जा रहा है।