दुनियाभर में स्थित वर्ल्ड ट्रेड सेंटर (डब्ल्यूटीसी) का नियमन करने वाले संगठन डब्ल्यूटीसीए ने डब्ल्यूटीसी नोएडा डेवलपमेंट और स्पायर टेकपार्क को मिले 13 लाइसेंस रद्द कर दिए हैं। यह कदम डब्ल्यूटीसी ग्रुप और उसके प्रवर्तकों के साथ ही भूटानी इंफ्रा एवं अन्य के खिलाफ कथित धोखाधड़ी, आपराधिक विश्वासघात और धोखाधड़ी के आरोपों की ईडी द्वारा की जा रही जांच के बीच उठाया गया।
वर्ल्ड ट्रेड सेंटर एसोसिएशन (डब्ल्यूटीसीए) ने मंगलवार को बयान में कहा कि उसने डब्ल्यूटीसीए के नियमों का पालन नहीं करने की वजह से इन लाइसेंस को रद्द किया है। लाइसेंस समाप्त करने का आदेश 19 फरवरी, 2025 की तारीख से प्रभावी होगा। डब्ल्यूटीसीए के प्रवक्ता ने कहा, ये मुद्दे इतने गंभीर, इतने अहम और सार्वजनिक रहे हैं कि डब्ल्यूटीसीए और इसके ब्रांड की प्रतिष्ठा प्रतिकूल रूप से प्रभावित हुई है। हमारे प्रत्येक सदस्य ने डब्ल्यूटीसीए से इस मामले की जांच करने की मांग की।
डब्ल्यूटीसी ग्रुप की आंतरिक जांच के बाद डब्ल्यूटीसीए इस नतीजे पर पहुंचा कि सहयोगियों ने लाइसेंस लेने के संबंधित कुछ अहम अंशों का उल्लंघन किया है। ऐसे में डब्ल्यूटीसीए ने 19 फरवरी, 2025 से लाइसेंस को खत्म करने की कार्रवाई की। प्रवक्ता ने कहा, डब्ल्यूटीसीए एक गैर-लाभकारी, गैर-राजनीतिक संगठन है, जो दुनियाभर में वर्ल्ड ट्रेड सेंटर स्थापित करने में मदद करता है। हम डब्ल्यूटीसी ब्रांड के मालिक हैं और इसके लाइसेंस एवं अधिकार देते हैं, लेकिन परियोजनाओं के विकास या वित्त पोषण से नहीं जुड़े हैं।
प्रवक्ता ने साफ किया कि डब्ल्यूटीसीए भागीदार, शेयरधारक, प्रबंधक किसी भी रूप में डब्ल्यूटीसी नोएडा या किसी अन्य लाइसेंसधारी की रियल एस्टेट विकास परियोजनाओं का हिस्सा नहीं हैं। मालूम हो कि डब्ल्यूटीसीए के तत्वावधान में लगभग 100 देशों एवं क्षेत्रों में 300 से अधिक कारोबार एवं संगठन कार्यरत हैं।
ईडी ने की थी हजारों करोड़ रुपये की संपत्ति की पहचान
ईडी ने एक दिन पहले ही कहा था कि उसने रियल्टी कंपनी डब्ल्यूटीसी ग्रुप और भूटानी ग्रुप के खिलाफ तलाशी अभियान चलाने के बाद हजारों करोड़ रुपये की संपत्ति की पहचान की है। जांच एजेंसी ने 27 फरवरी को धनशोधन रोधक अधिनियम के प्रावधानों के तहत यह तलाशी अभियान चलाया था। डब्ल्यूटीसी ग्रुप एवं उसके प्रवर्तक आशीष भल्ला, सुपर्णा भल्ला एवं अभिजीत भल्ला और भूटानी ग्रुप एवं उनके प्रवर्तक आशीष भूटानी के खिलाफ दिल्ली, नोएडा और गुरुग्राम में कई स्थानों पर छापे मारे गए।
इन पर कार्रवाई की गई
डब्ल्यूटीसी लखनऊ, डब्ल्यूटीसी नोएडा, डब्ल्यूटीसी नोएडा सीबीडी, डब्ल्यूटीसी पटना, डब्ल्यूटीसी अहमदाबाद, डब्ल्यूटीसी अमृतसर, डब्ल्यूटीसी भोपाल, डब्ल्यूटीसी चंडीगढ, डब्ल्यूटीसी फरीदाबाद, डब्ल्यूटीसी गिफ्ट सिटी, डब्ल्यूटीसी सूरत, डब्ल्यूटीसी वडोदरा और डब्ल्यूटीसी वाराणसी