नोएडा। सेक्टर-93 ए स्थित सुपरटेक एमराल्ड कोर्ट सोसायटी में ट्विन टावर मलबे को 45 दिन में हटाने का निर्देश नोएडा प्राधिकरण ने एडफिश इंजीनियरिंग को दिया है। इसके बाद तीन दिन में वहां से सभी मशीनों को हटाया जाएगा। यह फैसला नोएडा प्राधिकरण में मंगलवार की बैठक के बाद लिया है, जिसमें केंद्रीय भवन अनुसंधान संस्थान (सीबीआरआइ) के विशेषज्ञ, प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड, सोसायटी की दोनों एओए और एडफिश इंजीनियरिंग अधिकारियों शामिल हुए।
इस बैठक में हाल ही में प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड की ओर से सोसायटी में कराई गई कंपन और ध्वनि प्रदूषण की रिपोर्ट का परीक्षण कर सीबीआइआइ ने रिपोर्ट प्रस्तुत की। बता दें कि सेक्टर-93 ए स्थित सुपरटेक एमराल्ड कोर्ट सोसायटी में ट्विन टावर मलबे को हटाने में एडफिस इंजीनियरिंग कंपनी को दिक्कत आ रही है, क्योंकि उसे मलबे से सरिया निकाल कर चार करोड़ रुपये की रकम वसूल करनी है। जिसका सुपरटेक प्रबंधन के साथ अनुबंध किया गया था, ट्विन टावर ध्वस्तीकरण में सुप्रीम कोर्ट में यह अनुबंध लगाया गया है।
आफताब ने आरी से ही किए थे श्रद्धा के 35 टुकड़े, पोस्टमार्टम रिपोर्ट में खुलासा
हालांकि 28 अगस्त को ट्विन टावर ध्वस्त होने के बाद मलबा हटाने के लिए एडफिस इंजीनियरिंग को तीन माह का समय दिया गया था, लेकिन अनुबंध शर्त में नौ मीटर चौड़ी सड़क को खोद कर बनाना भी शामिल रहा, जिससे कंपनी को मलबे के नीचे दबी जमीन को खोदना पड़ रहा है, सरिया को निकाल कर पूरा मलबा निस्तारित किया जा सके।
ऐसे में जमीन की खोदाई व सरिया निकालने के लिए की जा रही कटाई से सोसायटी के निवासी परेशान है, मामले पर कई बार प्राधिकरण से लेकर राज्य प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड से शिकायत की। शिकायत पर बाहर से कंपनी को बुलाकर कंपन और ध्वनि की जांच कराई गई, जिसकी रिपोर्ट को केंद्रीय भवन अनुसंधान संस्थान ने परीक्षण के लिए दिया गया था।
परीक्षण रिपोर्ट आने के बाद मंगलवार को नोएडा प्राधिकरण कार्यालय पर बैठक हुई, जिसमें रिपोर्ट का प्रस्तुत कर विशेषज्ञों ने अपनी राय दी। जिसके बाद एडफिस इंजीनियरिंग को मलबा निस्तारित करने और सड़क का काम पूरा करने के लिए 45 दिन का अतिरिक्त समय दिया गया है। जिसके आदेश मुख्य कार्यपालक अधिकारी की ओर से जारी कर दिया गया है।