मेरठ। मेरठ में पूर्व मंत्री हाजी याकूब कुरैशी की अल फहीम मीटेक्स प्राइवेट लि. फैक्ट्री में पैकेजिंग और प्रोसेसिंग का धंधा करने वाले सलीम और उसके दो बेटों के नाम भी मुकदमे में बढ़ाए गए हैं। वहीं, याकूब कुरैशी के परिवार को 91 सीआरपीसी का नोटिस भेजा है, ताकि वह अपना पक्ष रख सकें। पुलिस सभी आरोपितों की जमानत अर्जी डलने का इंतजार कर रही है। ताकि गैंगस्टर एक्ट में कार्रवाई कर 14ए के तहत अवैध तरीके से कमाई संपत्ति जब्त की जा सके।
14 कर्मियों पर केस दर्ज
प्रकरण में पूर्व मंत्री हाजी याकूब, उनकी पत्नी शमजिदा बेगम, बेटा इमरान कुरैशी और फिरोज समेत 14 कर्मचारियों के खिलाफ संगीन धाराओं में मुकदमा दर्ज है। दस कर्मचारियों को जेल भेजा जा चुका है। सलीम और उसके दोनों बेटों पर आरोप है कि दिल्ली में मीट कटान कराकर याकूब कुरैशी की फैक्ट्री में पैकेजिंग कराते थे। सोमवार को पुलिस की तरफ से याकूब कुरैशी के घर पर 91 सीआरपीसी का नोटिस भेजा, जिसमें बताया कि पुलिस के सामने याकूब का परिवार अपना पक्ष रख सकता है। या कोई भी सबूत पेश कर सकता है। ताकि कोर्ट में ऐसा आरोप ना लग सके कि पुलिस ने उनका पक्ष नहीं सुना। साथ ही पूर्व मंत्री के घर और फैक्ट्री की तलाशी लेने के लिए पुलिस सर्च वारंट जारी कराने का प्रयास कर रही है। पुलिस मान रही है कि पूर्व मंत्री की फैक्ट्री और घर से भी साक्ष्य मिल सकते है।
धाराएं गैरजमानती हैं:
वरिष्ठ अधिवक्ता अनिल बख्शी ने बताया कि आइपीसी की धारा 420, 269, 270, 272, 273 और 120बी में सात साल से कम की सजा है। 2006 में फूड सेफ्टी एक्ट आया था। 2011 में उक्त एक्ट में संशोधन हुआ। उसके बाद धारा 269, 270, 272, 273 स्वत: खत्म हो चुकी हैं। एसएसपी प्रभाकर चौधरी ने बताया कि 272 और 273 आइपीसी में छह माह सजा और एक हजार का जुर्माना है, लेकिन उत्तर प्रदेश में इन धाराओं में संशोधन हुआ था। यहां पर इन धाराओं में उम्रकैद की सजा है। इन धाराओं आशय है कि खाने पीने की ऐसी खाद्य वस्तु जो आमजन के लिए जहर बन जाए।
ये है घटनाक्रम :
कोतवाली के सराय बहलीम तेलियान मस्जिद के पास रहने वाले पूर्व मंत्री हाजी याकूब कुरैशी की अल्लीपुर स्थित अल फहीम मीटेक्स प्राईवेट लिमिटेड फैक्ट्री को 2019 में कारोबारी गतिविधि पर रोक लगाते हुए बंद कर दिया था। उसके बाद फर्म ने किसी भी गतिविधि संचालित करने का लाइसेंस नहीं लिया। जांच टीम को फैक्ट्री के अंदर से प्रोसेस्ड मांस पैकेटस में करीब 2,40,438.8 किलोग्राम व कटा हुआ करीब 6720 किलोग्राम मीट तथा हड्डी करीब 1250 किलोग्राम मिलीं। डाक्टरों की प्रथम रिपोर्ट में सामने आया कि मीट खाने योग्य नहीं है, उससे दुर्गंध आ रही है। इसके बाद हाजी याकूब कुरैशी और उसके परिवार के समेत 14 लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज हुआ था।