Home Breaking News दो विधेयकों को मंजूरी, उत्तराखंड के सभी शहरी निकायों में सर्किल रेट के आधार पर संपत्ति कर
Breaking NewsUttrakhandउत्तराखंडराज्‍य

दो विधेयकों को मंजूरी, उत्तराखंड के सभी शहरी निकायों में सर्किल रेट के आधार पर संपत्ति कर

Share
Share

 गैरसैंण।  राज्य के नगर निकायों में सर्किल रेट के आधार पर संपत्ति कर की वसूली की जाएगी। मंत्रिमंडल ने इस सिलसिले में दो विधेयकों को मंजूरी दी है। प्रदेश के सभी आठ नगर निगमों, 41 नगर पालिका परिषदों और 43 नगर पंचायतों में सर्किल रेट के आधार पर भूमि व भवन का मूल्यांकन होगा और फिर इसके हिसाब से संपत्ति कर लिया जाएगा। हालांकि, निकायों को यह अधिकार दिया गया है कि वे 0.01 से एक फीसद तक संपत्ति कर में बढ़ोतरी कर सकेंगे। साथ ही यह प्रविधान भी किया गया है कि अगले पांच वर्षों तक संपत्ति कर में पांच फीसद से ज्यादा वृद्धि किसी भी दशा में नहीं की जाएगी।

केंद्र सरकार के दिशा निर्देशों के क्रम में अतिरिक्त ऋण प्राप्ति के लिए राज्य स्तरीय विशिष्ट सुधार समयबद्ध रूप से क्रियान्वित किए जाने के क्रम में सरकार ने यह कदम उठाया है। त्रिवेंद्र सिंह रावत मंत्रिमंडल की गैरसैंण में विधान भवन में मंगलवार को हुई बैठक में 12 बिंदुओं पर निर्णय लिए गए। विधानसभा सत्र आहूत होने के कारण मंत्रिमंडल के फैसलों को ब्रीफ नहीं किया गया। मंत्रिमंडल ने उत्तराखंड (उत्तर प्रदेश नगर निगम अधिनियम, 1959)(संशोधन ) विधेयक और उत्तराखंड (उत्तर प्रदेश नगर पालिका अधिनियम, 1959) (संशोधन) विधेयक को स्वीकृति दी। सूत्रों के मुताबिक वर्तमान में राज्य के नगर निगमों में स्वमूल्यांकन के आधार पर गृहकर लिया जाता है।

अब सरकार ने सर्किल रेट के आधार पर भवन और भूमि पर संपत्ति कर लेने का निर्णय लिया है। भवन और भूमि का मूल्यांकन सर्किल रेट के आधार पर किया जाएगा। इससे यह भी स्पष्ट हो सकेगा कि भवन व भूमि का मूल्य क्या है। संपत्ति कर निर्धारण प्रत्येक वर्ष में एक बार किया जाएगा। संपत्ति कर के निर्धारण की व्यवस्था इस प्रकार से की गई है कि यह वर्तमान जैसा ही बना रहे। इसमें अधिक बढ़ोतरी न हो।

See also  'दुनिया से गंदगी साफ करने का यही सही तरीका', इस्माइल हानिया के खात्मे के बाद इजरायल का पहला बयान

सर्किल रेट के आधार पर इसका निर्धारण होगा और पांच साल तक यह पांच फीसद से अधिक नहीं बढ़ेगा। इस व्यवस्था से नगर निकायों में संपत्ति कर को लेकर पूरी पारदर्शिता रहेगी। साथ ही मनमानी की शिकायतों पर भी अंकुश लग सकेगा। भविष्य में संपत्ति कर की पूरी व्यवस्था को आनलाइन कर दिया जाए। भवन व भू-स्वामी स्वयं ही अपने संपत्ति कर का निर्धारण कर इसे आनलाइन ही जमा कर सकेंगे।

कैबिनेट के फैसले 

-उत्तराखंड भाषा संस्थान अधिनियम, 2018 (अधिनियम संख्या 16, वर्ष 2018) में संशोधन को स्वीकृति, संस्थान का मुख्यालय गैरसैंण में होगा।

-हरिद्वार कुंभ मेला-2021 के लिए भारत सरकार से जारी मानक संचालन प्रक्रिया (एसओपी) के अनुपालन में राज्य सरकार की कार्यवाही पर लगाई मुहर।

-ग्राम पंचायत थलीसैंण, पौड़ी को नगर पंचायत बनाने का निर्णय-ग्राम पंचायत लालपुर, ऊधमसिंह नगर को नगर पंचायत बनाने को मंजूरी।

-ग्राम पंचायत सिरौलीकला, ऊधमसिंह नगर को नगर पंचायत बनाने को मंजूरी।

-श्री केदारनाथ उत्थान चेरिटेबल ट्रस्ट के संचालन को पदों के सृजन पर सहमति।

-उत्तराखंड चारधाम देवस्थानम बोर्ड में नामांकित सदस्यों की अर्हता निर्धारण को नियमावली स्वीकृत।

-देवभूमि उत्तराखंड विश्वविद्यालय, देहरादून विधेयक पर मुहर।

-सूरजमल विश्वविद्यालय विधेयक को मंजूरी।

-स्वामी राम हिमालयन विश्वविद्यालय अधिनियम में संशोधन को मंजूरी।

Share
Related Articles
Breaking Newsमनोरंजनसिनेमा

Kesari Chapter 2 BO Collection: 40 करोड़ के पार हुई फिल्म, जानें छठे दिन कितने छापे नोट?

हैदराबाद: ‘केसरी चैप्टर 2: द अनटोल्ड स्टोरी ऑफ जलियांवाला बाग’ ने दर्शकों के...

Breaking Newsव्यापार

अब गाड़ियों के हॉर्न नहीं करेंगे आपका दिमाग खराब, गडकरी की नई योजना- वाहनों से निकलेंगे मेलोडियस धुन

नई दिल्ली: केंद्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी ने वाहनों को...

Breaking Newsखेल

भारत और पाकिस्तान के बीच नहीं होगा क्रिकेट मैच? पहलगाम हमले के बाद सामने आया ये बयान

पहलगाम में कायराना आतंकी हमले के बाद अब भारत पाकिस्तान को सबक...