Home धर्म-दर्शन राम के ही देश मे एक जगह ऐसी भी है जहाँ न तो रावण का दहन किया जाता है , न ही कभी रामलीला का मंचन |
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राम के ही देश मे एक जगह ऐसी भी है जहाँ न तो रावण का दहन किया जाता है , न ही कभी रामलीला का मंचन |

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पूरे देश मे रामलीला का मंचन किया जाता है और रावण के पुतले का दहन किया जाता है लेकिन राम के ही देश मे एक जगह ऐसी भी है जहाँ न तो रावण का दहन किया जाता है ओर न ही इस गांव में कभी रामलीला का मंचन होता है अगर ऐसा होता है तो कुछ न कुछ  अपशकुन हो जाता है ये गांव मौजूद है दिल्ली से चंद कदमो की दूरी पर ग्रेटर नोएड़ा में राम के आदर्शो और रावण के चरित्र पर आधारित ग्रन्थ राम चरित मानस में राम को मर्यादा पुरुषोतम और रावण को राच्छस जाती का नायक बताया गया है दसहरा के दिन राम रावण युद्ध में असत्य पर सत्य की जीत करते हुए  श्री राम ने अहंमकारी रावण का वध किया था उसी समय से आज के दिन को विजय उत्शव दिवस के रूप में मनाया जाने लगा 
राम के देश मे रावण का मंदिर ..राम के देश मे ही नही होती रामलीला…बुराई के प्रतीक रावण के पुतले का नही होता दहन …..रावण के पुतला का होता है दहन तो गांव में होती है मौते …………….
 ग्रेटर नोएड़ा का गाँव बिसरख और गाँव वालो की माने तो इस गाँव का नाम बिसरख रावन के पिता विशेषर के नाम पर ही रखा गया है रावण के पिता यही के रहने वाले थे और इसी गाँव में पूजा किया करते थे इस गाँव के लोगो का कहना है की यह गाँव रावण का गाँव है और इस गाँव को रावण के पिता ने बसाया था रावण का बचपन यही पर बीता था रावण भगवान् शंकर की इसी मंदिर में पूजा किया करता था .इस गाँव में रावण को पूजा जाता है .बिसरख में रावण के पुतले का दहन भी नही किया जाता और ना ही इस गाँव में रामलीला की जाती है क्युकी गाँव वालो का कहना है अगर इस गाँव में रामलीला या रावण को फुका जाता है तो कोई न कोई अनहोनी ज़रूर होती है.एक बार रावण दहन करने पर इस गाँव में ६ लोगो की मौत हो चुकी है गाँव वाले इसे रावण का सन्देश समझते है और वो इसी डर से रावण का दहन नही करते .इस गाँव में सभी गाँव वालो का कहना है यहा पर एक बहुत ही प्राचीन अष्टभुजा  शिवलिंग है जिस की पूजा रावन किया करता था 
  
गाँव वाले डर के कारन गाँव में एक रावण का मंदिर भी बना हुआ है जहा पर रावण की  मूर्ति को स्थापित किया जाना था लेकिन कुछ असामाजिक तत्वों ने मूर्ति को तोड़ दिया था लेकिन 2019 में फिर से मूर्ति को स्थापित किया जाएगा लोगो की माने तो  इसी गाँव के प्राचीन शिव मंदिर में मौजूद  शिवलिंग की खुदाई की गई लेकिन उस का किसी को अंत नही मिला कहा जाता है की खुदाई के दौरान एक गुफा भी मिली लेकिन अब वो सब नष्ट हो चुकी  है
अब इसे आस्था कहे या अंध विश्वास की राम के देश में ही रावण के पुतले को जलाने पर लोगो को अनहोनी का सामना करना पड़ता है .राम के देश में भी लोग रावण के पुतले को जलाने से डरते है राम के इस देश में जहा पुरे देश में हर्ष उल्लास से इस पर्व को मनाया जाता है वही इस गाव में आज यहाँ मातम पसरा रहता है यह भी मान्यता है की यदि कोई रावण के पुतले को जलाने का दुस्साहस करता है तो उसे किसी अनहोनी का सामना करना पड सकता पड़ता है
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