नेफोमा टीम ने मुख्यमंत्री के सामने रखी लाखों फ्लेट बॉयर्स की फरियाद, मुख्यमंत्री ने दिया अधिकारियों को आदेश बैठने से नही चलेगा काम
आज फ्लेट बॉयर्स की समस्याओं को लेकर नेफोमा सदस्यों ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यानाथ से अमेटी यूनिवर्सिटी में मीटिंग की जिसमे नेफोमा ने जिक्र किया कुछ महीने पहले प्राधिकरण और बॉयर्स ग्रुप एवं विधायक पंकज सिंह, उद्योग मंत्री सतीश महाना के साथ मीटिंग हुयी थी उसके बाद नोएडा, ग्रेटर नोएडा वेस्ट, ग्रेटर नोएडा एक्सप्रेसवे के लाखों फ्लेट ख़रीदारों ने अपनी खुशी की थी बॉयर्स को एक उम्मीद जगी थी कि जो फ्लेट बॉयर्स 7 साल से बिल्डर और प्राधिकरण के चक्कर लगा रहे थे उनको घर नहीं मिल रहा था अगर घर मिल रहा था तो बिल्डर अपनी अनुचित एक्स्ट्रा डिमांड फ्लेट बॉयर्स से बसूल रहा था, उन सबसे बॉयर्स को छुटकारा मिल जाएगा, लेकिन बार बार आपके कहने के बाबजूद भी बिल्डरों और प्राधिकरण पर कोई असर नही हुआ, मंत्री समिति आती है बार बार अधिकारियों और बिल्डरो से मीटिंग करती है कभी फ्लेट बॉयर्स से नही पूछती की कितनी समस्या का समाधान निकाला,आपको कड़े कदम उठाने की जरूरत है, नेफोमा अध्यक्ष अन्नू खान ने पाँच सूत्रीय ज्ञापन दिया जिसमें प्रमुख मांगे रखी
1. फ्लेट बॉयर्स की स्थिति को देखते हुए सरकार से आग्रह है कि फ्लेट बॉयर्स की प्राधिकरण में रजिस्ट्री के समय लगने वाली फीस को माफ़ किया जाए जिससे लंबे समय से इंतजार कर रहे फ्लेट बॉयर्स को कुछ तो राहत मिले ।
2. पुराने फ़्लैट आँनर्स से अतिरिक्त रुपयो / किसी भी तरह के ब्याज की मांग ना की जाये जैसे कि फ़ार्मेर कम्पन्सेसन, एस्क्लेशन चार्जेस, लेट पेमेन्ट चार्जेस, सीवर, मीटर, वाटर कनेक्शन चार्जेस आदि ।
3. प्राधिकरण अवैध रूप से अनुमति देकर बिल्डरों के द्वारा अवैध निर्माण करा रहा है। जिसको वर्तमान सरकार के द्वारा नियमित करने की कोशिश प्राधिकरण के अधिकारी कर रहे हैं। सरकार को गुमराह किया जा रहा है । नोएडा के 2008 सितंबर के बाद अलॉट हुए ग्रुप हाउसिंग सोसायटी के भूखंड की जनसंख्या घनत्व की जांच की जाए । जनसंख्या घनत्व पर आवासीय यूनिट की संख्या की जांच की जाए । इस जांच में जो लोग जनसंख्या घनत्व पर लड़ रहे हैं उन को शामिल किया जाए नोएडा की प्रदूषण ट्रैफिक जाम एवं अन्य समस्याओं के लिए मास्टर प्लान 2031 में संशोधन करें ।
4. रेरा बिल सरकार ने लागू तो कर दिया लेकिन फ्लेट बॉयर्स को बार बार तारीख पर लखनऊ जाना पड़ता है जिससे बॉयर्स को मानसिक और पैसे का सामना करना पड़ता है, क्योंकि ज्यादातर फ्लेट बॉयर्स छोटी मोटी नोकरी करने वाले है आपसे विनम्र निवेदन है कि एक कमेटी नोएड़ा में बनाकर प्राधिकरण मे पूरी तरह रेरा कानून को लागू कराया जाए तथा सभी को पालन करने के निर्देश दिए जाए और अगर कोई बिल्डर इसका पालन नही करता है तो प्राधिकरण उस बिल्डर पर सख्त कार्यवाही करे, पिछली सरकार द्वारा अक्टूबर 2016 में रेरा को बिल्डर के समर्थन में नोटिफाई किया था, लेकिन अभी तक सरकार ने उसको डिनोटिफाइड नही किया है सरकार से अनुरोध है कि रेरा को डिनोटिफाइड करके जो सेन्ट्रल सरकार ने रेरा बिल बनाया था वही लागू किया जाए जिससे पुराने खरीददारों को फायदा मिल सके ।
5. सात साल से फ्लेट का इंतजार कर रहे फ्लेट बॉयर्स को बिल्डरों द्वारा कोई सुभिधा नही दी गई बल्कि बॉयर्स से लेट किश्त होने पर 24% ब्याज तक बसूल किया गया, आज जब बिल्डर सात साल फ्लेट लेट कर रहे है तो बॉयर्स को न ही अपने अग्रीमेंट के हिसाब से न ही रेरा के हिसाब से लेट पेनाल्टी नही देना चाहते है, बल्कि दो लाख से लेकर चार लाख तक अवैध रूप से बॉयर्स से पैसे की डिमांड कर रहे है ।
मुख्यमंत्री योगी ने बॉयर्स की समस्याओं को सुनते हुए नोएड़ा प्राधिकरण और ग्रेटर नोएडा सीईओ को आदेश दिया कि नेफोमा की शिकायत पर जल्द कार्यवाही करें, मुख्यमंत्री ने अधिकारियों से कहा कि 50 हजार फ्लेट का जो वादा किया था उसको निभाओ किसी भी तरह दिसंबर तक बॉयर्स को फ्लेट दिलवाओ ।
मीटिंग में नेफोमा टीम से संजय नैलवाल, आसिम खान, शेलेन्द्र वर्णवाल, विकास सिंह, कर्नल आर०पी० खन्ना, उपकार सिंह, सत्या मित्रा, सूरज वालिया आदि फ्लेट बॉयर्स ने भाग लिया
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