नोएडा। उत्तर प्रदेश में चुनावी बिगुल बज चुका है। जनवरी के प्रथम सप्ताह में आचार संहिता लागू होने की संभावना है। माना जा रहा है कि इस बार पश्चिमी उत्तर प्रदेश से चुनाव का आगाज होगा। राजनीतिक दलों ने पश्चिमी उत्तर प्रदेश को साधना शुरू कर दिया है। सपा ने रालोद के साथ गठबंधन कर भाजपा के सामने चुनौती खड़ी कर दी है। बसपा भी अपनी गोटियां बिठा रही है। कांग्रेस ने भी पूरी ताकत झोंक दी है। सत्ताधारी दल भाजपा भी इनकी काट के लिए अपनी रणनीति को अमली जामा पहनाना शुरू कर दिया है। दैनिक जागरण संवाददाता धर्मेंद्र चंदेल ने भाजपा के पश्चिमी उप्र के क्षेत्रीय अध्यक्ष मोहित बेनीवाल से विधानसभा चुनाव को लेकर बातचीत की। पेश के उसके अंश:
पश्चिमी उत्तर प्रदेश में सपा-रालोद गठबंधन भाजपा को कितनी चुनौती देगा?
-यह गठबंधन बेअसर रहेगा। भाजपा ने गत लोकसभा चुनाव में सपा-बसपा गठबंधन को फेल किया था। उप चुनावों में भी गठबंधन के प्रत्याशी जमानत तक नहीं बचा सके। एक बात और कहना चाहूंगा- योगी सरकार ने प्रदेश की जनता को सुशासन दिया है। पहले पश्चिमी उप्र की जनता सुरक्षित नहीं थी। पलायन बड़ा मुद्दा था। कैराना और कांधला में लोग पांच बजे के बाद घरों से नहीं निकलते थे। दुकानों पर गोलियां चल जाती थीं। पलायन करने वाले लोगों को अपनी पुश्तैनी संपत्ति कौड़ियों के भाव बेचनी पड़ी। योगी सरकार में जनता सुरक्षित है। छात्रओं को अब स्कूल-कालेज जाते समय अराजक तत्वों का भय नहीं है। आधी रात भी लोग घरों से निकल कर कहीं भी आ-जा सकते हैं। इसका लाभ भाजपा को मिलेगा।
पश्चिमी उत्तर प्रदेश में भाजपा को कितनी सीटें मिलने की उम्मीद है?
-देखिए, भाजपा सबका साथ सबका विकास के रास्ते पर चल रही है। दूसरे दलों में ऐसा नहीं है। उनकी सोच और दायरा सीमित है। इसलिए आप तय मानिए, भाजपा पहले से भी अधिक सीटों पर जीत हासिल करेगी। 2017 विधानसभा चुनाव में पश्चिमी उप्र की 71 में से 51 सीटें जीती थीं। इस बार इससे अधिक सीटें जीतेंगे।
पहले से अधिक सीट जीतने के आपके दावे का क्या आधार है?
-मैंने पहले भी कहा, योगी सरकार ने प्रदेश में तुष्टीकरण की राजनीति को समाप्त किया है। पूर्व की सरकारों के कार्यकाल में रंगदारी उद्योग चलता था। सरकारों का खुला संरक्षण उन्हें मिलता था। भाजपा सरकार ने अपराधियों की कमर तोड़कर उन्हें जेल में डाला। उद्योगों के लिए बेहतर वातावरण दिया। इससे लाखों को रोजगार मिला। भारतीय संस्कृति और धरोहरों को बचाने का काम भी भाजपा सरकार ने किया है। अयोध्या में भगवान राम व वाराणसी में काशी विश्वनाथ मंदिर का निर्माण कराया। हमारा अगला कदम मथुरा में श्रीकृष्ण जन्मभूमि पर भव्य मंदिर का निर्माण व ब्रजघाट और गढ़ को हरिद्वार की तर्ज पर विकसित करने की योजना है। यहीं भाजपा की जीत का आधार बनेंगी।
पश्चिमी उप्र में भाजपा किस दल को अपना प्रतिद्वंद्वी मानती है?
-चुनाव होने दीजिए, सबको पता चल जाएगा। भाजपा के आसपास कोई भी दल नहीं ठहरेगा। तभी मैंने पहले से भी अधिक सीट जीतने का दावा किया है। इसी वजह से विपक्षी पार्टियों को गठबंधन की आवश्यकता पड़ रही है।
किसान आंदोलन से भाजपा को कितना नुकसान हुआ?
-कोई नुकसान नहीं हुआ है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने किसान हित में अहम फैसले लिए थे। विपक्ष ने किसानों को गुमराह करने का काम किया। यह आंदोलन राजनीतिक दलों का राजनीतिक भूमि को तलाशने के लिए जमावड़ा था। उनका किसानों से कोई जुड़ाव नहीं था। प्रधानमंत्री मोदी ने बड़ा दिल दिखाते हुए कृषि कानूनों को वापस ले लिया। किसान भाजपा के साथ हैं।
महंगाई का चुनाव पर कितना असर पड़ेगा?
-केंद्र और उत्तर प्रदेश सरकार ने महंगाई को नियंत्रित करने के लिए प्रभावी कदम उठाए हैं। डीजल पेट्रोल के दाम कम किए हैं। योगी सरकार ने प्रदेश में वैट व सेस कम किए है। इस वजह से उत्तर प्रदेश में अन्य राज्यों के मुकाबले पेट्रोल व डीजल की कीमतें काफी कम हैं। भाजपा सरकार ने मुफ्त में गैस सिलेंडर के कनेक्शन दिए हैं। शौचालयों का निर्माण कराया है। गरीब, शोषित व पीड़ित लोगों को मुख्य धारा से जोड़ा गया है।