वैश्विक निवेशक सम्मेलन के तहत मंगलवार को हुए एनर्जी कॉन्क्लेव में 40 हजार करोड़ रुपये से अधिक के एमओयू किए गए। करीब 33 कंपनियों ने राज्य में सौर ऊर्जा, जल विद्युत ऊर्जा, गैस आधारित ऊर्जा के क्षेत्र में निवेश के लिए ये समझौते किए हैं। इनमें से प्रथम चरण पार करने के बाद 21522 करोड़ के प्रोजेक्ट की ग्राउंडिंग हो चुकी है जबकि 18901 करोड़ के नए एमओयू हुए हैं। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि प्रदेश में ऊर्जा क्षेत्र में निवेश की अपार संभावनाएं हैं।
मंगलवार को डेस्टिनेशन उत्तराखंड ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट के तहत सचिवालय में एनर्जी कॉन्क्लेव में विभिन्न कंपनियों के प्रतिनिधि पहुंचे। इस मौके पर मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी की उपस्थिति में 40,423 करोड़ के एमओयू किए गए। इनमें से 21,522 करोड़ की ग्राउंडिंग हो चुकी है जबकि 18901 करोड़ के नए एमओयू किए गए हैं। मुख्यमंत्री धामी ने कहा कि राज्य में ऊर्जा के क्षेत्र में कार्य करने के लिए अपार संभावनाएं हैं। निवेश बढ़ाने के लिए सरकार लगातार प्रयास कर रही है। औद्योगिक जगत से जुड़े लोगों के सुझावों के आधार पर 27 नई नीतियां बनाई गई हैं और अनेक नीतियों को सरल किया गया है। इस मौके पर आईं कंपनियों ने सौर ऊर्जा प्रोजेक्ट, हाइड्रो पावर प्रोजेक्ट, पंप स्टोरेज प्लांट, सीएनजी प्लांट, सोलर पार्क बनाने के प्रस्ताव दिए। टीएचडीसी-यूजेवीएनएल संयुक्त उपक्रम ने सर्वाधिक 16370 करोड़ के एमओयू किए गए हैं।
मुख्यमंत्री ने बताया कि आठ व नौ दिसंबर को होने वाले निवेशक सम्मेलन की शुरुआत प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी करेंगे। उनके वाइब्रेंट गुजरात की प्रेरणा से ही प्रदेश में डेस्टिनेशन उत्तराखंड पर काम हो रहा है। अपर मुख्य सचिव राधा रतूड़ी ने कहा कि राज्य में ऊर्जा के क्षेत्र में तीनों निगमों को एकजुटता से कार्य करने हैं। निवेश से स्थानीय लोगों को रोजगार के अवसर बढ़ेंगे। इसके लिए नियमित समीक्षा बैठक की जाएंगी। सचिव ऊर्जा डॉ. आर मीनाक्षी सुंदरम ने कहा कि उत्तराखंड को ऊर्जा आत्मनिर्भर राज्य बनाने की दिशा में निरंतर प्रयास हो रहे हैं। जल विद्युत परियोजनाओं के माध्यम से निवेश एवं रोजगार को प्रोत्साहन देने के लिए जल विद्युत नीति व नई सौर ऊर्जा नीति भी लागू की गई है। यूजेवीएनएल के एमडी संदीप सिंघल ने जल विद्युत परियोजनाओं, पंप स्टोरेज के संबंध में लागू नीतियों पर प्रस्तुतिकरण दिया।
कौन कितना करेगा निवेश
टीएचडीसी-यूजेवीएनएल एनर्जी कंपनी – 16,370 करोड़
एनटीपीसी विद्युत व्यापार निगम लिमिटेड- 50 करोड़
यूजेवीएनएल- 3220 करोड़
स्टेट क्राफ्ट- 600 करोड़
ईस्टर्न रामगंगा वैली हाइडिल प्रोजेक्ट कंपनी- 160 करोड़
मंदाकिनी हाइड्रो पावर- 130 करोड़
खुटानी पावर- 300 करोड़
मेलखेत पावर – 330 करोड़
हिम ऊर्जा प्राइवेट लिमिटेड- 480 करोड़
अगलर पावर प्राइवेट लिमिटेड- 90 करोड़
काशी विश्वनाथ स्टील- 68
काशी विश्वनाथ टेक्सटाइल मिल – 10
इविंसिया रिनिवेबल – 09
सारा सीई – 2.36+1.23
टेकनॉक्स इंजीनियरिंग – 01
जीएमआर- 10,800
कुंदन ग्रुप- 1000
उत्तर भारत हाइड्रो – 750
भिलंगना हाइड्रो पावर- 1000
रिजेंसी यमुना एनर्जी- 336
रिजेंसी गंगनानी एनर्जी- 24
शिवम दयाल एनर्जी- 185
इवॉल्व एनर्जी- 1184
हेगाटैक प्राइवेट लि.- 827
एमवी पावर एनर्जी- 75
रेज पावर इंफ्रा- 2000
त्रिशूलीन इनोवेशंस- 200
रिवरक्लीन एनर्जी- 210
एडोस रिनिवेबल – 10