कानपुर जिले में एनकाउंटर के दौरान 8 पुलिस कर्मियों की हत्या के मामले की जांच कर रहा विशेष जांच दल (Special Investigation Team) अब प्राधिकरण क्षेत्र (नोएडा-ग्रेटर नोएडा) में भी मरहूम गैंगस्टर विकास दुबे की संपत्ति खंगाल रहा है। ताजा जानकारी के मुताबिक, एसआइटी ने तीनों प्राधिकरणों को पत्र भेजकर हिस्ट्रीशीटर विकास दुबे, उसकी पत्नी रिचा समेत नाते-रिश्तेदारों के नाम पर भी आवंटित संपत्ति की जानकारी मांगी है। एसआइटी की इस मांग पर प्राधिकरणों के कर्मचारी संपत्ति से जुड़ी फाइलों को खंगालने में जुट गए हैं।
31 जुलाई तक सौंपनी है रिपोर्ट
एसआइटी ने प्राधिकरणों को पत्र भेजकर अधिसूचित क्षेत्र में विकास दूबे, उसके साथी एवं स्वजन के नाम संपत्ति के बारे में भी जानकारी मांगी है। एसआइटी को 31 जुलाई को अपनी रिपोर्ट सौंपनी है। ऐसे में संपत्ति से जुड़ी जानकारी एकत्र करने के लिए प्राधिकरणों के कर्मचारी फाइलें खंगालने में जुट गए हैं।
मिली जानकारी के मुताबिक, जांच की कड़ी में एसआइटी प्रदेश भर में विकास दुबे, उसके साथियों और स्वजन से जुड़ा रिकॉर्ड इकट्ठा कर रही है। बताया जा रहा है कि विकास दुबे की दुर्दांत होने के पीछे मुख्य कारण राजनीतिक था। राजनीति संरक्षण के चलते ही विकास को कई बार जमानत मिली थी और पुलिस उस पर मेहरबान रहती थी।
गौरतलब है कि कानपुर जिले में 2-3 जुलाई की रात को गैंगस्टर विकास दुबे को गिरफ्तार करने गई टीम पर हमला हुआ था, जिसमें 8 पुलिस कर्मी शहीद हो गए थे। इस हत्याकांड में विकास दुबे अपने गुर्गों के साथ शामिल था। उत्तर प्रदेश स्पेशल टास्क फोर्स का शिकंजा कसता देखकर 9 जुलाई को विकास दुबे ने उज्जैन में सरेंडर कर दिया था, लेकिन वापस कानपुर लाने के दौरान 10 जुलाई को हुए एनकाउंटर में विकास दुबे की मौत हो गई। इसके बाद प्रदेश सरकार ने इस प्रकरण की जांच के लिए चीनी उद्योग एवं गन्ना विकास विभाग के अपर मुख्य सचिव संजय भूसरेड्डी की अध्यक्षता में एसआइटी गठित कर दी, जो 9 बिंदुओं पर मामले की जांच कर रही है।