बेरोजगार शिक्षित नवजवानों को सरकारी नौकरी के लिए होने वाले ऑनलाइन परीक्षा में पास कराने का ठेका लेने वाले गिरोह का यूपी एसटीएफ ने पर्दाफाश किया है। यूपी एसटीएफ ने रेलवे भर्ती बोर्ड (आरआरबी) ग्रुप डी की ऑनलाइन परीक्षा में प्रश्नो को हल करने के लिए डमी परिक्षार्थी बैठाने वाले संगठित गिरोह के सात लोगों को गिरफ्तार किया है। इनमें गिरोह का मुखिया और कैंडिडेट लाने वाले तीन ठेकेदार भी शामिल हैं। पकड़े गए लोगों में एक रेलवे का कर्मचारी भी है।
रेलवे भर्ती बोर्ड की ऑनलाइन परीक्षा में लाखों शिक्षित बेरोजगारों ने आवेदन किया है। इस परीक्षा में बैठने वालों की तलाश कर उन्हें परीक्षा में पास कराने का ठेका लेने वाला गिरोह सक्रिय था। कान्फीडेंशियल इनपुट से इस बात की मिलने के बाद पुलिस सतर्क हुई। मामले की तह तक पहुंचने की कोशिश की जा रही थी, इसी बीच यूपी एसटीएफ की नोएडा यूनिट को जानकारी मिली कि रेलवे भर्ती बोर्ड की ग्रुप डी की ऑनलाइन परीक्षा में साल्वर बिठाने वाले संगठित गिरोह के कुछ सदस्य नोएडा के सेक्टर-62 में हैं। इस बात की जानकारी मिलते ही पुलिस तुरंत एक्शन में आई। उसने छापा मारकर कुल 07 लोगों को गिरफ्तार कर लिया। पकड़े गए लोगों से 4 लाख 51हजार 500 रुपये की नकदी, 3 कार, 100 अधिक एडमिट कार्ड, 85 कैंडिडेट्स के आधार कार्ड, वोटर कार्ड और अन्य पहचान पत्र, 8 मोबाइल फोन, चेक बुक, एटीएम कार्ड,लेनदेन की डायरी बरामद की गई है। इन अभियुक्तों के खिलाफ साइबर थाने कार्रवाई की जा रही है।
यूपी एसटीएफ के गिरफ्त में आए गिरोह का मुखिया हरियाणा के सोनीपत निवासी संजीत भी शामिल है। पकड़े गए गैंग का एक अन्य सदस्य सुमित बागपत के छपरौली रेलवे स्टेशन पर ट्रैकमैन के पद पर तैनात है। इसके अलावा गिरोह के लिए काम करने वाले तीन ठेकेदार भी हैं। ठेकेदारों का काम कैंडिडेट लाना होता है। जबकि गिरफ्तार बिहार के नालंदा के रहने वाले सुबोध, गजेंद्र व सन्नी साल्वर हैं।
ये गिरोह अबतक तक चंडीगढ़, पटियाला, सोनीपत व नोएडा आदि जगहों पर हुई परीक्षाओं में कई बार बैठ चुके हैं। सूत्र बताते हैं कि इस गैंग ने अब तक लगभग200 कैंडिडेट्स से 02 करोड़ से भी ज्यादा की रकम लेकर उनके स्थान पर साल्वर बैठाने का काम कर चुके हैं। पुलिस इनसे और भी जानकारी जुटाने की कोशिश में लगी है।