वाशिंगटन। पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के वकीलों ने कहा है कि सीनेट में महाभियोग की सुनवाई के दौरान वह किसी तरह की गवाही नहीं देंगे। दरअसल, महाभियोग की कार्रवाई देख रहे प्रबंधकों ने पूर्व राष्ट्रपति को गुरुवार को छह जनवरी की घटना में अपनी भूमिका के संबंध में गवाही देने के लिए बुलाया था। इसके जवाब में ट्रंप के वकीलों ने इसे पब्लिक रिलेशन स्टंट बताते हुए इसमें शामिल होने से इन्कार कर दिया था।
ट्रंप की टीम ने दिया यह जवाब
महाभियोग की प्रक्रिया से जुड़े प्रमुख मैनेजर जैमी रस्किन ने ट्रंप को लिखे पत्र में उनसे सुनवाई के दौरान या उससे पहले शपथ के साथ गवाही देने का अनुरोध किया था। ट्रंप की कानूनी टीम के महाभियोग के मामले में जवाब दाखिल करने के बाद यह पत्र भेजा गया था। जवाब में उनकी टीम ने कहा, ‘महाभियोग ऐसे व्यक्ति पर चलाया जाता है, जिसके पास इससे संबंधित पद हो। क्योंकि वह (ट्रंप) अब राष्ट्रपति नहीं हैं, इसलिए उन पर महाभियोग नहीं चलाया जा सकता।’
गवाही के लिए बुलाया
रस्किन ने ट्रंप को लिखे पत्र में कहा था, ‘दो दिन पहले आपने जवाब दाखिल किया था, जिसमें महाभियोग से जुड़े कई तथ्यात्मक आरोपों का खंडन किया था। उन्होंने पत्र में कहा, ‘आपके इन तथ्यात्मक आरोपों का खंडन करने के मद्देनजर, मैं आपको छह जनवरी 2021 की घटना में आपकी भूमिका के संबंध में शपथ के साथ गवाही देने के लिए बुलाता हूं, आप चाहे सीनेट में महाभियोग की सुनवाई के दौरान या उससे पहले गवाही दे सकते हैं।’
वकील बोले- ट्रंप गवाही नहीं देंगे
रस्किन ने आगे कहा है कि हम चाहते हैं कि आप सोमवार आठ फरवरी 2021 को गवाही दें और हो सके तो इसमें गुरुवार 11 फरवरी 2021 से अधिक देरी ना करें। इस पत्र पर पूर्व राष्ट्रपति के वरिष्ठ वकील जैसन मिलर ने कहा कि ट्रंप गवाही नहीं देंगे। उन्होंने कहा कि पूर्व राष्ट्रपति असंवैधानिक सुनवाई में गवाही नहीं देंगे।
ट्रंप का आचरण अस्वीकार्य
मिलर के बयान पर रस्किन ने कहा, ‘राष्ट्रपति ट्रंप को छह जनवरी की घटना के संबंध में गवाही देने का विकल्प दिया गया था, लेकिन उन्होंने इसे मना कर दिया। उनके वकील के बयान के बावजूद, अमेरिका की सरकार के खिलाफ सशस्त्र हिंसा भड़काने के किसी भी आरोपी को स्वतंत्रता एवं ईमानदारी से गवाही देने का मौका दिया जाना चाहिए। हालांकि आरोपित गवाही देने तभी आता है जब उसके पास बचाव में कहने के लिए कुछ हो। हम सुनवाई में यह साबित करेंगे कि ट्रंप का आचरण अस्वीकार्य है।’